९.७ – सर्वभूतानि कौन्तेय
श्री: श्रीमते शठकोपाय नमः श्रीमते रामानुजाय नमः श्रीमद्वरवरमुनये नमः अध्याय ९ << अध्याय ९ श्लोक ६ श्लोक सर्वभूतानि कौन्तेय प्रकृतिं यान्ति मामिकाम् |कल्पक्षये पुनस्तानि कल्पादौ विसृजाम्यहम् || पद पदार्थ कौन्तेय – हे कुन्ती पुत्र!कल्पक्षये – ब्रह्मा के जीवन काल के अंत मेंसर्व भूतानि – सभी वस्तुएँमामिकाम् – जो मेरा शरीर हैप्रकृतिं – मूल प्रकृति में … Read more